Tuesday, 29 December 2020

भाजपा की बेवफाई नए समीकरण के संकेत !

बीजेपी नीतीश कुमार के साथ सियासी बेईमानी तो लंबे समय से कर रही थी, लेकिन ऐसा कोई प्रत्यक्ष कारण नहीं था कि वे नैतिकता के आधार पर उसका साथ छोड़ पाते. लेकिन, अरुणाचल प्रदेश में जेडीयू के सात में से छह विधायकों को बीजेपी में शामिल करके बीजेपी ने नीतीश कुमार को यह प्रत्यक्ष अवसर दे दिया है कि वे चाहें तो एनडीए से अलग हो सकते हैं.



सियासी समय की नज़ाकत देखते हुए पूर्व विधानसभा अध्यक्ष और राजद के वरिष्ठ नेता उदय नारायण चौधरी ने कहा है कि नीतीश अगर तेजस्वी को समर्थन देकर मुख्यमंत्री बना दें तो विपक्ष उन्हें 2024 में प्रधानमंत्री पद के लिए समर्थन दे सकती है. इस वक्त बिहार में जो राजनीतिक हालात हैं, उनमें साफ हैं कि यदि नीतीश कुमार एनडीए से हट गए, तो बिहार की सत्ता बीजेपी के पास नहीं रहेगी, लेकिन बिहार विधानसभा चुनाव ने यह भी स्पष्ट कर दिया है कि यदि बीजेपी अकेले रहती है, तब भी वह अच्छी स्थिति में रहेगी. यही नहीं, सियासी जोड़तोड़ का एक्सपर्ट बीजेपी नेतृत्व बिहार में भी खामोश नहीं बैठेगा. उसकी कोशिश रहेगी कि वह कांग्रेस, जेडीयू जैसे दलों में सियासी जोड़तोड़ करके अपनी सियासी ताकत बढ़ाए. इस वक्त तो सत्ता की चाबी नीतीश कुमार के पास है, किंतु यदि बीजेपी सियासी जोड़तोड़ में कामयाब हो गई, तो नीतीश कुमार सियासी मुख्यधारा में बेअसर हो जाएंगे, लिहाजा नीतीश कुमार बीजेपी से राजनीतिक रिश्तों को लेकर जितना जल्दी फैसला करेंगे, फायदे में रहेंगे. उधर, यदि नीतीश कुमार महागठबंधन के साथ आ जाते हैं, तो राजद को दोहरा लाभ होगा, एक तो उसे बिहार की सत्ता मिल जाएगी और दूसरा अगले लोकसभा चुनाव में एनडीए के खिलाफ बिहार में सशक्त मोर्चा तैयार हो जाएगा.  

याद रहे, किसी समय नीतीश को प्रधानमंत्री पद का सशक्त दावेदार माना जाता था, लेकिन बाद में जेडीयू के प्रबल राष्ट्रीय आधार के अभाव में नरेंद्र मोदी ने उन्हें मात दे दी थी. राजनीतिक जानकारों का मानना है कि नीतीश कुमार चाहें या न चाहें, बीजेपी अपने राजनीतिक लक्ष्य को लेकर आगे बढ़ती रहेगी और यदि तब भी नीतीश कुमार बीजेपी के साथ ही रहे तो भविष्य में वे राजनीतिक तौर पर न केवल कमजोर होंगे, वरन सियासत में अप्रासंगिक भी हो सकते हैं!

No comments:

Post a Comment

कोल्हान की सियासी चुनौती

  देवानंद सिंह झारखंड की राजनीति हमेशा से ही अपने उतार-चढ़ाव के लिए जानी जाती रही है। इस बार भी यही देखने को मिलेगा। पूरे झारखंड की बात छोड़...